राम अयोध्या के राजा थे,
फिर राजा बन जाएंगे।
और राम की पूजा करने,
फिर से हम सब जाएंगे।
मन्दिर वहीं बनाएंगे,रिपोर्ट
प्रभु की महिमा गाएंगे।
एक बार वनवास दिया था,
उनको उनकी माता ने।
खुशी-खुशी स्वीकार किया था,
जग के भाग्य विधाता ने।
पर अबकी जो मिला उन्हें वो,
दिया क्लेश निर्माता ने।
और उसे अब खत्म किया है,
जन-गण-मन के ज्ञाता ने।
आज अदालत ने भी माना,
राम अयोध्या जाएंगे।
मन्दिर वहीं बनाएंगे,
प्रभु की महिमा गाएंगे।
सब कहते थे सदा वोट की,
खातिर मुद्दा लाते है।
घूम घूम कर कन्वेसिंग में,
राम-नाम गुण गाते हैं।
अब बनने की बारी आई,
तो फिर क्यों खिसियाते हैं।
पूरा अपना वचन किया है,
जग को ये दिखलाते हैं।
राम -नाम ले आये हैं तो,
राम-राम ही गाएंगे।
मन्दिर वहीं बनाएंगे।
प्रभु की महिमा गाएंगे।
@
डॉ सुषमा
कानपुर